Tax on International Students: ऑस्ट्रेलिया में पढ़ने जाने वाले विदेशी स्टूडेंट्स को हर हफ्ते 20 घंटे तक काम करने की इजाजत होती है। इसके जरिए स्टूडेंट्स इतना पैसा कमा लेते हैं कि उनका रोजमर्रा का खर्चा निकल जाता है। हालांकि, अगर आप स्टूडेंट वीजा पर ऑस्ट्रेलिया पढ़ने गए हैं और वहां पार्ट-टाइम जॉब कर रहे हैं, तो फिर आपको हर साल टैक्स रिटर्न दाखिल करना होगा। वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए टैक्स रिटर्न दाखिल करने की आखिरी तारीख 31 अक्टूबर 2025 है।
हालांकि, अगर आप रजिस्टर्ड टैक्स एजेंट का इस्तेमाल करते हैं, तो फिर आपको ज्यादा समय मिलेगा। लेकिन फिर भी आपको 31 अक्टूबर 2025 से पहले तक अपनी अप्वाइंटमेंट बुक करनी होगी। किसी भी बकाया टैक्स का भुगतान 21 नवंबर 2025 तक किया जाना चाहिए। समय पर टैक्स फाइल करने से ऑस्ट्रेलियाई टैक्स कानून का नियम सुनिश्चित होता है। साथ ही अगर आपने ज्यादा टैक्स भरा है, तो आपको रिफंड भी मिलेगा।
इसके अलावा आपका एक फाइनेंशियल रिकॉर्ड भी बनता है, जो आपको भविष्य में वीजा, रेंट या नौकरी के आवेदन में मदद करता है। आइए अब आपको स्टेप-बाइ-स्टेप बताते हैं कि किस तरह टैक्स रिटर्न फाइल किया जा सकता है।
चेक करें कि क्या आपको रिटर्न फाइल करना है?
अगर आपने पार्ट-टाइम जॉब या कैजुअल वर्क के जरिए कमाई की है, तो फिर आपको टैक्स भरना होगा। अगर आपकी कमाई में से टैक्स काटा गया है, तो फिर आपको टैक्स रिटर्न भरना है। अगर आपको स्कॉलरशिप या वजीफा मिला है, जिसे टैक्सेबल इनकम के तौर पर गिना गया है तो फिर रिटर्न फाइल करना है। इस तरह अगर आपने थोड़ी सी भी कमाई की है तो फिर आपको टैक्स भरने के लिए तैयार रहना चाहिए।
टैक्स फाइल करने की जरूरी तारीखें
अगर आपने जॉब के दौरान खुद के इंटरनेट, फोन या इलेक्ट्रिसिटी का इस्तेमाल किया है, तो फिर इनके लिए काटे गए पैसों को वापस पाने का दावा कर सकते हैं। अगर आपने जॉब के लिए पढ़ाई की है, तो फिर कोर्स फीस का दावा भी किया जा सकता है। इसी तरह से जॉब के लिए खरीदे गई यूनिफॉर्म के पैसे का दावा भी किया जा सकता है। सभी दावों के लिए आपके पास रसीद होनी चाहिए और वो आपकी आय से जुड़ी भी होनी चाहिए।
टैक्स रेजिडेंसी स्टेटस चेक करें
आपका रेजिडेंसी स्टेटस तय करता है कि आपको कितना टैक्स देना है और क्या आपको रिफंड मिलेगा या नहीं। अगर आप साल के बीच में ही ऑस्ट्रेलिया छोड़ देते हैं, तो फिर भी आपको उस समय तक की आय के लिए इनकम टैक्स फाइल करना होगा, जो आपने यहां अर्जित की है। दिक्कत होने पर आप यूनिवर्सिटी के इंटरनेशन स्टूडेंट सपोर्ट या रजिस्टर्ड टैक्स एडवाइजर से बात कर सकते हैं।
किस तरह टैक्स रिटर्न फाइल करें?
तीन तरीकों से टैक्स रिटर्न दाखिल किया जा सकता है। पहला, ATO से लिंक myGov अकाउंट के जरिए myTax का इस्तेमाल कर टैक्स रिटर्न फाइल किया जा सकता है। दूसरा, अगर आपकी इनकम कई सारी जॉब्स और स्कॉलरशिप से आई है, तो ऐसी स्थिति में रजिस्टर्ड टैक्स एजेंट के जरिए टैक्स रिटर्न फाइल किया जा सकता है। एजेंट को दी जाने वाली फीस को अगले रिटर्न में वापस भी पाया जा सकता है। तीसरा, आप पेपर फॉर्म का इस्तेमाल कर मेल के जरिए रिटर्न दाखिल कर सकते हैं, लेकिन इसमें प्रोसेसिंग टाइम ज्यादा होता है।
हालांकि, अगर आप रजिस्टर्ड टैक्स एजेंट का इस्तेमाल करते हैं, तो फिर आपको ज्यादा समय मिलेगा। लेकिन फिर भी आपको 31 अक्टूबर 2025 से पहले तक अपनी अप्वाइंटमेंट बुक करनी होगी। किसी भी बकाया टैक्स का भुगतान 21 नवंबर 2025 तक किया जाना चाहिए। समय पर टैक्स फाइल करने से ऑस्ट्रेलियाई टैक्स कानून का नियम सुनिश्चित होता है। साथ ही अगर आपने ज्यादा टैक्स भरा है, तो आपको रिफंड भी मिलेगा।
इसके अलावा आपका एक फाइनेंशियल रिकॉर्ड भी बनता है, जो आपको भविष्य में वीजा, रेंट या नौकरी के आवेदन में मदद करता है। आइए अब आपको स्टेप-बाइ-स्टेप बताते हैं कि किस तरह टैक्स रिटर्न फाइल किया जा सकता है।
चेक करें कि क्या आपको रिटर्न फाइल करना है?
अगर आपने पार्ट-टाइम जॉब या कैजुअल वर्क के जरिए कमाई की है, तो फिर आपको टैक्स भरना होगा। अगर आपकी कमाई में से टैक्स काटा गया है, तो फिर आपको टैक्स रिटर्न भरना है। अगर आपको स्कॉलरशिप या वजीफा मिला है, जिसे टैक्सेबल इनकम के तौर पर गिना गया है तो फिर रिटर्न फाइल करना है। इस तरह अगर आपने थोड़ी सी भी कमाई की है तो फिर आपको टैक्स भरने के लिए तैयार रहना चाहिए।
टैक्स फाइल करने की जरूरी तारीखें
- 31 अक्टूबर 2025: अगर खुद से रिटर्न फाइल कर रहे हैं, तो फिर यही फाइलिंग की आखिरी तारीख है।
- 31 अक्टूबर 2025 तक: अगर आप रजिस्टर्ड टैक्स एजेंट के जरिए फाइलिंग कर रहे हैं, तो फिर अप्वाइंटमेंट बुक करने की आखिरी तारीख यही है।
- 21 नवंबर 2025: बकाया टैक्स भुगतान करने की आखिरी तारीख।
- इन तारीखों को मिस कर दिया तो फिर आपको जुर्माना भी देना पड़ सकता है।
- कंपनी या नियोक्ता से मिला PAYG इनकम स्टेटमेंट।
- काम से जुड़े खर्चों के लिए रसीदें और चालान।
- स्कॉलरशिप, वजीफा या विदेशी आय से जुड़े दस्तावेज।
- सुनिश्चित करें कि आपका टैक्स फाइल नंबर (TFN) सही है और आपके वीजा से जुड़ा हुआ है।
अगर आपने जॉब के दौरान खुद के इंटरनेट, फोन या इलेक्ट्रिसिटी का इस्तेमाल किया है, तो फिर इनके लिए काटे गए पैसों को वापस पाने का दावा कर सकते हैं। अगर आपने जॉब के लिए पढ़ाई की है, तो फिर कोर्स फीस का दावा भी किया जा सकता है। इसी तरह से जॉब के लिए खरीदे गई यूनिफॉर्म के पैसे का दावा भी किया जा सकता है। सभी दावों के लिए आपके पास रसीद होनी चाहिए और वो आपकी आय से जुड़ी भी होनी चाहिए।
टैक्स रेजिडेंसी स्टेटस चेक करें
आपका रेजिडेंसी स्टेटस तय करता है कि आपको कितना टैक्स देना है और क्या आपको रिफंड मिलेगा या नहीं। अगर आप साल के बीच में ही ऑस्ट्रेलिया छोड़ देते हैं, तो फिर भी आपको उस समय तक की आय के लिए इनकम टैक्स फाइल करना होगा, जो आपने यहां अर्जित की है। दिक्कत होने पर आप यूनिवर्सिटी के इंटरनेशन स्टूडेंट सपोर्ट या रजिस्टर्ड टैक्स एडवाइजर से बात कर सकते हैं।
किस तरह टैक्स रिटर्न फाइल करें?
तीन तरीकों से टैक्स रिटर्न दाखिल किया जा सकता है। पहला, ATO से लिंक myGov अकाउंट के जरिए myTax का इस्तेमाल कर टैक्स रिटर्न फाइल किया जा सकता है। दूसरा, अगर आपकी इनकम कई सारी जॉब्स और स्कॉलरशिप से आई है, तो ऐसी स्थिति में रजिस्टर्ड टैक्स एजेंट के जरिए टैक्स रिटर्न फाइल किया जा सकता है। एजेंट को दी जाने वाली फीस को अगले रिटर्न में वापस भी पाया जा सकता है। तीसरा, आप पेपर फॉर्म का इस्तेमाल कर मेल के जरिए रिटर्न दाखिल कर सकते हैं, लेकिन इसमें प्रोसेसिंग टाइम ज्यादा होता है।
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